[PDF] शिव तांडव स्तोत्र अर्थ सहित | Shiv Tandav Stotram PDF

दोस्तों आज के इस पोस्ट में हम आपको Shiv Tandav Stotram PDF का डाउनलोड लिंक देने वाले हैं, जिस पर आप क्लिक करके आप Shiv Tandav Stotram PDF को फ्री में डाउनलोड कर सकते हो | दोस्तों इस PDF में आपको कम्पलीट अर्थ सहित Shiv Tandav Stotram पढ़ने को मिल जायेगा | तो आइये जानते हैं Shiv Tandav Stotram के बारे में |

Shiv Tandav Stotram PDF

 Shiv Tandav Stotram PDF
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Shiv Tandav Stotram PDF Details 

Name शिव ताण्डव स्तोत्र
Size 113 KB
Page 4
Language Hindi
Format PDF
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शिव तांडव क्या है ( Shiv Tandav ) 

दोस्तों मान्यताओ के आधार पर हम आपको बता रहे है – रावण ने कैलाश पर्बत उठा लिया था और लंका को ले जाने लगा था | रावण पूर्ण अहंकार में था | महादेव को उसका यह अहंकार पसंद नहीं आया तो भगवन शिव ने अपने पैर के अगुठे से तनिक दवाया तो कैलाश पर्वत जहाँ था वही पर आ गया | उसके नीचे रावण का हाथ दव गया और रावण शंकर – शंकर क्षमा करो | और स्तुति करने लग गया; जो कालांतर में शिव तांडव स्तोत्र कहलाया।

शिव ताण्डव स्तोत्र से शिव  इतना खुश हुए की आशुतोष भगवान भोलेनाथ ने ना केवल रावण को सकल समृद्धि और सिद्धि से युक्त सोने की लंका ही वरदान  के रूप में नहीं दी अपितु सम्पूर्ण ज्ञान, विज्ञान तथा अमर होने का वरदान भी दिया । कहा जाता है की शिव ताण्डव स्तोत्र  सुनने मात्र से ही व्यक्ति सम्पत्ति , समृद्धि अथवा सन्तादि प्राप्त करता है |

शिव तांडव स्तोत्र को रावण तांडव स्तोत्र के नाम से भी जाना जाता है, क्योंकि इस स्तोत्र का रचना रावण द्वारा की गई है। इस स्तोत्र में रावण ने 17 श्लोंको से भगवान शिव की स्तुति गाई है। रावण द्वारा गाई गई, यही स्तुति शिव तांडव स्तोत्र के नाम से जानी जाती है।

शिव तांडव स्तोत्र के लाभ ( shiv tandav stotram ke labh )

  • जो मनुष्य शिव तांडव स्तोत्र द्वारा भगवान शिव की स्तुति करता है, उससे भगवान शिव प्रसन्न होते हैं नियमित रूप से शिव तांडव स्त्रोत का पाठ करने से कभी भी धन संपत्ति की कमी नहीं होती |
  • शिव तांडव स्त्रोत का पाठ करने से साधक को साथ ही उत्कृष्ट व्यक्तित्व की प्राप्ति होती है |
  • यह पाठ करने से व्यक्ति का चेहरा तेज में होता है आत्म बल मजबूत होता है |
  • शिव तांडव स्त्रोत का पाठ करने से मन की कामना पूर्ण हो जाती है |
  • माना जाता है कि प्रतिदिन शिव तांडव स्त्रोत का पाठ करने से बाणी की सिद्धि भी प्राप्त की जा सकती है |
  • भगवान शिव नेत्र, चित्रकला, लेखन, योग ध्यान समाधि आज सिद्धियों को प्रदान करने वाले हैं इसलिए शिव तांडव स्त्रोत का पाठ करने से इन सभी विषयों में सफलता प्राप्त होती है |
  • शिव तड़प स्त्रोत का पाठ करने से शनि दोष को को प्रभावों से भी छुटकारा मिलता है |

शिव तांडव स्त्रोत की विधि 

  • शिव तांडव स्त्रोत का पाठ प्रातः काल या प्रदोष काल करना चाहिए |
  • सबसे पहले स्नाननदी करने के पश्चात स्वच्छ वस्त्र धारण करें |
  • शिव जी को प्रणाम करें और धूप, दीप और निवेद से उनका पूजन करें |
  • रावण ने पीड़ा के कारण इस स्तोत्र को बहुत तेज स्वर में गया था इसलिए गाकर शिव तांडव स्त्रोत का पाठ करें |
  • नृत्य के साथ इसका पाठ करना सर्वोत्तम माना जाता है परंतु तांडव नृत्य केवल पुरुषों को ही करना चाहिए |
  • पाठ पूर्ण हो जाने के पश्चात भगवान शिव का ध्यान करें |
  • यह पाठ बहुत ऊर्जा बाल और शक्तिशाली माना गया है परंतु यह पाठ करते समय किसी के प्रति अपने मन में दुर्भावना ना रखें |

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Shiv Tandav Stotram PDF को कैसे डाउनलोड करें 

Shiv Tandav Stotram PDF
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FAQs

शिव तांडव स्त्रोत कब सुनना चाहिए ?

शिव तांडव स्त्रोत का पाठ सुबह-सुबह स्नान करने के बाद करना चाहिए या प्रदोष काल में इसका पाठ करना सर्वोत्तम माना गया है पाठ करने के बाद भगवान शिव का ध्यान करें और अपनी प्रार्थना करें |

शिव तांडव स्तोत्र कितना शक्तिशाली है?
शिव तांडव स्तोत्र का पाठ करने से साधक को साथ ही उत्कृष्ट व्यक्तित्व की प्राप्ति होती है। यह पाठ करने से व्यक्ति का चेहरा तेजमय होता है, आत्मबल मजबूत होता है। शिवतांडव स्तोत्र का पाठ करने से मन की कामना पूर्ण हो जाती है। माना जाता है कि प्रतिदिन शिव तांडव स्तोत्र का पाठ करने से वाणी की सिद्धि भी प्राप्त की जा सकती है।

 

रावण ने शिव तांडव क्यों गया था ?

रावण ने पीड़ा से बचने हेतु शिव मंत्र जपते हुए क्षमा याचना की लेकिन भगवान शिव ने उसकी नहीं सुनी तब भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए रावण ने प्रदोष के दिन 1008 छंदों से युक्त रचना का गाना प्रारंभ किया जिससे बाद में शिव तांडव स्त्रोतम कहा गया |

शिव तांडव का अर्थ क्या है?
तांडव शब्द भगवान शिव से जुड़ा हुआ है। ताण्डव का अर्थ होता है उग्र तथा औद्धत्यपूर्ण क्रिया कलाप या स्वच्छंद क्रिया कलाप। ताण्डव (अथवा ताण्डव नृत्य) शंकर भगवान द्वारा किया जाने वाला अलौकिक नृत्य है।
शिव तांडव स्त्रोत का पाठ करने से क्या होता है ?

मान्यता है कि नियमित रूप से शिव तांडव स्त्रोत का पाठ करने से कभी भी धन संपत्ति की कमी नहीं होती इस पाठ को करने से व्यक्ति का चेहरा तेज में होता है आत्म बल मजबूत होता है धार्मिक मान्यता है कि शिव तांडव स्त्रोत का पाठ करने से हर मनोकामना पूर्ण हो जाती है |

 

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